सब्जी की खेती कर किसान ने बदली अपनी किस्मत, बैंगन और भिंडी से कमा रहे लाखों रुपये

उत्तर प्रदेश के महराजगंज जिले के शीतलापुर गांव में रहने वाले अर्जुन गुप्ता किसानों के लिए प्रेरणा बन गए हैं। जहां उन्होंने कुछ साल पहले छोटी सी जमीन पर सब्जी की खेती शुरू की थी वहीं अब वह 12 कट्ठा जमीन पर सब्जी का उत्पादन कर रहे हैं। खासकर बैंगन और भिंडी की खेती से अर्जुन गुप्ता को अच्छा आर्थिक लाभ मिल रहा है जिससे उनके जीवन को एक नई दिशा मिल रही है। ग्रेजुएशन के बाद खेती करने वाले अर्जुन अब एक सफल किसान के रूप में स्थापित हो चुके हैं।
खेती से कैसे जुड़े अर्जुन गुप्ता?
अर्जुन गुप्ता ने स्नातक तक की पढ़ाई पूरी की और फिर कृषि के क्षेत्र में अपनी किस्मत आजमाने का फैसला किया। अर्जुन का खेती से जुड़ाव अचानक नहीं हुआ बल्कि यह उनके परिवार का पारंपरिक व्यवसाय था। हालाँकि उन्होंने इस पारंपरिक खेती के लिए एक नया दृष्टिकोण अपनाया और खुद को चावल और गेहूं की खेती तक सीमित नहीं रखा। अर्जुन ने सब्जी की खेती में अपनी किस्मत आजमाई और धीरे-धीरे उन्हें इस दिशा में सफलता मिलने लगी।
शुरुआती दिनों में अर्जुन ने ज़मीन के एक छोटे से टुकड़े पर बैंगन और भिंडी की खेती शुरू की थी। उन्होंने अपनी मेहनत लगन और खेती के सही तरीकों से न सिर्फ उत्पादन बढ़ाया बल्कि अब 12 कट्ठा जमीन पर बड़े पैमाने पर सब्जियां उगा रहे हैं.
बैंगन और भिंडी की खेती से लाखों का मुनाफा
अर्जुन गुप्ता का कहना है कि कड़ी मेहनत और सही तकनीक से सब्जी की खेती में अच्छा मुनाफा कमाया जा सकता है। उनका कहना है कि पिछले सीजन में उन्हें बैंगन और भिंडी की खेती से 2 लाख से 2.5 लाख रुपये का मुनाफा हुआ था। सब्जी की खेती में उचित देखरेख और समय पर फसल सुरक्षा से उत्पादन में काफी वृद्धि होती है। अर्जुन का मानना है कि अगर किसान पारंपरिक खेती से आगे बढ़कर सब्जियां उगाएं तो यह उनके लिए काफी लाभदायक साबित हो सकता है।
खेतों की साफ़-सफ़ाई और बेहतर देखभाल
अर्जुन गुप्ता अपने खेतों की साफ-सफाई पर विशेष ध्यान देते हैं। उनके खेतों की देखभाल इतनी अच्छी तरह से की जाती है कि बरसात के मौसम में भी किसी भी प्रकार का खरपतवार नहीं देखा जाता है। उनका खेत हर समय हरा-भरा और जीवंत दिखता है। खेती की साफ-सफाई और बेहतर देखभाल से न केवल उत्पादन बढ़ता है बल्कि फसल की गुणवत्ता भी सुनिश्चित होती है।
बैंगन और भिंडी अर्जुन के खेतों में उगाई जाने वाली मुख्य फसलें हैं। वह अपनी जरूरत के हिसाब से धान और गेहूं भी उगाते हैं. लेकिन मुख्य रूप से उनका ध्यान सब्जी की खेती पर है क्योंकि इससे उन्हें अन्य फसलों की तुलना में अधिक मुनाफा मिलता है।
अन्य किसानों के लिए सब्जियां उगाने की प्रेरणा
अर्जुन गुप्ता पिछले कुछ वर्षों में अपनी कड़ी मेहनत और खेती के आधुनिक तरीकों को अपनाकर अन्य किसानों के लिए प्रेरणा बन गए हैं। उनके आसपास के अन्य किसान भी उनकी खेती के तरीकों को देखकर अब सब्जियां उगाने में रुचि रखते हैं। अर्जुन के मुताबिक अगर किसान खेती को व्यवसाय की तरह लें और कड़ी मेहनत के साथ सही तरीके अपनाएं तो यह काफी लाभदायक हो सकती है।
आपने खेती से जुड़ने का फैसला क्यों किया?
अर्जुन गुप्ता ने खेती को अपने करियर के रूप में क्यों चुना इसका जवाब उन्हें अपनी पारिवारिक पृष्ठभूमि में मिलता है। उन्होंने बताया कि खेती करना उनके परिवार की परंपरा रही है लेकिन वह इसे नए तरीके से करना चाहते थे। इसलिए उन्होंने स्नातक की पढ़ाई पूरी करने के बाद खेती में कदम रखा और पारंपरिक खेती के साथ-साथ सब्जियों की खेती को भी अपनाया। नतीजा आज वह खुद को एक सफल किसान के रूप में देखते हैं।
अर्जुन गुप्ता के खेती के अनुभव से अन्य किसानों के लिए टिप्स
अर्जुन गुप्ता अपने अनुभव का उपयोग अन्य किसानों को सब्जियां उगाने के लिए प्रोत्साहित करने के लिए करते हैं। उनका कहना है कि अगर किसान थोड़ी सी मेहनत करें और सही तकनीक का इस्तेमाल करें तो वे भी सब्जी की खेती से अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं. उन्होंने कहा कि खेती में सफलता के लिए जरूरी है कि किसान अपनी फसलों की उचित देखभाल करें समय पर खाद पानी और कीटनाशकों का प्रयोग करें और खेतों की साफ-सफाई और सुंदरता का भी ध्यान रखें।