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सितंबर के दूसरे हफ्ते में खुल सकती है सरकारी कर्मचारियों की किस्मत, DA पर सबसे बड़ा अपडेट आया सबके सामने

The fate of government employees may change in the second week of September, the biggest update on DA has come in front of everyone
 
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सितंबर का महीना आ चुका है और इस महीने का सरकारी कर्मचारियों (Government servant) को बेसब्री से इंतजार था। इसका कारण यह है कि इसी महीने सरकार से सैलरी बोनस या महंगाई भत्ते (da hike) को लेकर कोई बड़ा ऐलान होने की उम्मीद है। विशेष रूप से केंद्र सरकार के कर्मचारियों के लिए यह महीना खास हो सकता है क्योंकि सूत्रों के अनुसार इस बार 3 से 4 फीसदी अतिरिक्त डीए बढ़ने की संभावना जताई जा रही है।

डीए मिलान की 50 प्रतिशत दर

फिलहाल देश में पेंशनभोगियों से लेकर लाखों केंद्रीय कर्मचारियों को 50 प्रतिशत की दर से डीए मिल रहा है। यह डीए लोकसभा चुनाव से ठीक पहले मार्च महीने में बढ़ाया गया था। लेकिन अब हर कोई उम्मीद कर रहा है कि एक और डीए वृद्धि की घोषणा जल्द ही हो सकती है।

डीए यानि महंगाई भत्ता सरकार द्वारा कर्मचारियों को महंगाई से लड़ने में मदद के लिए प्रदान किया जाता है। यह एक निश्चित प्रतिशत कर्मचारी के मूल वेतन में जोड़ा जाता है जिसे हर महीने की सैलरी में शामिल किया जाता है। इसके साथ ही मकान किराया भत्ता (HRA) जैसी अन्य रकम भी वेतन में शामिल होती है। डीए की यह बढ़ोतरी सरकारी और कुछ निजी क्षेत्र के कर्मचारियों के लिए भी उपलब्ध होती है।

डीए की घोषणा कब होगी?

अब लाखों सरकारी कर्मचारियों के मन में यह सवाल है कि सरकार अगली डीए बढ़ोतरी की घोषणा कब करेगी। ऐसे कयास लगाए जा रहे हैं कि सरकार सितंबर के दूसरे हफ्ते में अतिरिक्त डीए को लेकर कोई घोषणा कर सकती है। आंकड़ों के मुताबिक इसमें 3 फीसदी की बढ़ोतरी तय मानी जा रही है लेकिन अगर सब कुछ ठीक रहा तो इसमें 4 प्रतिशत की भी वृद्धि हो सकती है।

ध्यान देने योग्य बात यह है कि डीए और डीआर (Dearness Relief) साल में दो बार (January and July) बढ़ाए जाते हैं। इस बार की संभावित वृद्धि को लेकर कर्मचारी बेहद उत्साहित हैं क्योंकि महंगाई के चलते यह भत्ता उनकी जिंदगी में बड़ी मदद कर सकता है।

महंगाई भत्ते की बढ़ोतरी का महत्व

महंगाई भत्ते की वृद्धि का सीधा असर कर्मचारियों की जीवनशैली पर पड़ता है। जब महंगाई बढ़ती है तो जरूरी वस्तुओं और सेवाओं की कीमतों में वृद्धि होती है जिससे कर्मचारियों की क्रय शक्ति घट जाती है। ऐसे में डीए की वृद्धि से उन्हें अपनी क्रय शक्ति को बनाए रखने में मदद मिलती है। इसके अलावा डीए में वृद्धि से कर्मचारियों की सैलरी भी बढ़ती है जिससे वे अधिक वित्तीय स्थिरता महसूस करते हैं।

डीए और सैलरी में बढ़ोतरी का गणित

डीए की गणना कर्मचारी के मूल वेतन के आधार पर की जाती है। उदाहरण के लिए यदि किसी कर्मचारी का मूल वेतन 50000 रुपये है और डीए की दर 50 प्रतिशत है तो उसे हर महीने 25000 रुपये डीए के रूप में मिलते हैं। यदि सरकार डीए में 3 प्रतिशत की वृद्धि करती है तो यह 53 प्रतिशत हो जाएगा और कर्मचारी को 26500 रुपये डीए मिलेगा। इसी तरह 4 प्रतिशत की वृद्धि के बाद डीए 54 प्रतिशत हो जाएगा जिससे उसे 27000 रुपये डीए मिलेगा।

इस प्रकार डीए की वृद्धि से कर्मचारियों की कुल सैलरी में वृद्धि होती है जिससे उनकी आर्थिक स्थिति मजबूत होती है।

कर्मचारियों की उम्मीदें

इस बार की डीए वृद्धि को लेकर कर्मचारियों के बीच काफी उत्साह है। उन्हें उम्मीद है कि सरकार इस बार उन्हें 3 से 4 प्रतिशत की बढ़ोतरी देगी। इसके साथ ही वे यह भी उम्मीद कर रहे हैं कि इस वृद्धि के साथ-साथ बोनस और अन्य वित्तीय लाभ भी मिल सकते हैं जिससे उनकी वित्तीय स्थिति और मजबूत होगी।