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सिरसा में 15 किसानों पर मामला दर्ज ! बिजली कार्यालय पर ताला लगाने और कर्मचारियों को बंधक बनाने का आरोप

बिजली निगम के उपमंडल अधिकारी प्रदीप बाना के अनुसार राकेश फगोडिया और उसके साथियों ने उपमंडल कार्यालय चौटाला के मुख्य गेट को ताला लगाकर सरकारी कार्य में बाधा उत्पन्न की। कर्मचारियों को दफ्तर में बंधक बना लिया गया। जब कर्मचारियों ने इसका कारण पूछा तो किसानों ने हाथापाई और गाली-गलौज की।
 
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सिरसा जिले के चौटाला गांव में बिजली विभाग के कार्यालय पर ताला लगाने और कर्मचारियों को बंधक बनाने के आरोप में 15 किसानों पर मामला दर्ज किया गया है। यह मामला बिजली विभाग के अधिकारी की शिकायत पर दर्ज किया गया है। वीरवार को गांव चौटाला और आसपास के लगभग 15 किसानों ने बिजली से संबंधित समस्याओं के समाधान के लिए बिजली घर के गेट पर ताला जड़ दिया था।

बिजली विभाग का बयान

बिजली निगम के उपमंडल अधिकारी प्रदीप बाना के अनुसार राकेश फगोडिया और उसके साथियों ने उपमंडल कार्यालय चौटाला के मुख्य गेट को ताला लगाकर सरकारी कार्य में बाधा उत्पन्न की। कर्मचारियों को दफ्तर में बंधक बना लिया गया। जब कर्मचारियों ने इसका कारण पूछा तो किसानों ने हाथापाई और गाली-गलौज की।

इसके बाद उपमंडल अधिकारी के साथ भी अभद्र व्यवहार किया और कार्यालय के अंदर धरना दिया। किसानों ने कार्यालय में लगे सीसीटीवी कैमरों के साथ भी छेड़खानी की। उपमंडल अधिकारी की शिकायत के आधार पर पुलिस ने राकेश फगोड़िया, संदीप बिश्नोई, डॉ. राकेश बिश्नोई, लखपत बिश्नोई और अन्य किसानों के खिलाफ मामला दर्ज किया है।

किसान नेता का बयान

किसान नेता राकेश फगेड़िया ने बताया कि पुलिस ने बिजली निगम के दबाव में 15 किसानों पर मामला दर्ज किया है। उन्होंने कहा, "हमारा दोष यह है कि हमने संघर्ष के दम पर अबूबशहर गांव निवासी किसान लखपत बिश्नोई के नलकूप पर ट्रांसफार्मर लगवाया है। बिजली निगम द्वारा आमजन के साथ लगातार हो रही लूट के खिलाफ हम लड़ रहे हैं।"

घटना के दिन चौटाला और आसपास के किसानों ने बिजली से संबंधित समस्याओं के समाधान के लिए बिजली कार्यालय पर धरना दिया। गेट पर ताला जड़ने के बाद किसानों ने कर्मचारियों को दफ्तर में बंधक बना लिया। जब कर्मचारियों ने इसका कारण पूछा तो किसानों ने हाथापाई और गाली-गलौज की। उपमंडल अधिकारी के साथ भी अभद्र व्यवहार किया गया और कार्यालय में धरना दिया गया। किसानों ने सीसीटीवी कैमरों के साथ छेड़खानी की जिससे कार्यालय की सुरक्षा व्यवस्था प्रभावित हुई।

किसानों की मांगें

किसानों की मुख्य मांग यह थी कि बिजली विभाग उनके बिजली से संबंधित समस्याओं का समाधान करे। वे चाहते थे कि ट्रांसफार्मर की स्थापना और बिजली आपूर्ति में सुधार किया जाए। किसानों का आरोप है कि बिजली निगम द्वारा लगातार लूट और भ्रष्टाचार किया जा रहा है जिसके खिलाफ वे संघर्ष कर रहे हैं। उनका कहना है कि वे सिर्फ अपने अधिकारों के लिए लड़ रहे हैं और उन्हें गलत तरीके से फंसाया जा रहा है।

पुलिस की कार्रवाई

उपमंडल अधिकारी की शिकायत के आधार पर पुलिस ने तुरंत कार्रवाई की और 15 किसानों के खिलाफ मामला दर्ज किया। पुलिस ने बताया कि उपमंडल अधिकारी ने शिकायत में स्पष्ट रूप से बताया है कि किसानों ने सरकारी कार्य में बाधा उत्पन्न की कर्मचारियों को बंधक बनाया और सीसीटीवी कैमरों के साथ छेड़खानी की। इन सभी आरोपों के आधार पर मामला दर्ज किया गया है और पुलिस ने जांच शुरू कर दी है।

किसानों का आरोप

किसानों का आरोप है कि पुलिस ने बिजली निगम के दबाव में आकर यह मामला दर्ज किया है। उनका कहना है कि वे सिर्फ अपने अधिकारों के लिए लड़ रहे हैं और उन्हें गलत तरीके से फंसाया जा रहा है। राकेश फगेड़िया ने बताया कि वे संघर्ष के दम पर अबूबशहर गांव निवासी किसान लखपत बिश्नोई के नलकूप पर ट्रांसफार्मर लगवाने में सफल रहे हैं जो उनके संघर्ष की एक बड़ी जीत है।