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New Expressway: 6,530 करोड़ रुपये की लागत से बन रहा भारत का पहला सुपर एक्सप्रेसवे! हरियाणा के इन जिलों को भी होगा लाभ

यह एक्सप्रेसवे विशेष रूप से हरियाणा के चार जिलों—गुरुग्राम, रेवाड़ी, झज्जर और महेंद्रगढ़—और राजस्थान के तीन जिलों—अलवर, जयपुर और सिलकर—से होकर गुजरेगा। इसके अलावा यह करीब 423 गांवों को भी कनेक्ट करेगा।
 
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India’s First Super Expressway: हरियाणा और राजस्थान के ग्रामीण इलाकों के लिए एक नई आशा की किरण बनकर उभरा है दिल्ली-जयपुर सुपर एक्सप्रेसवे। इस एक्सप्रेसवे का निर्माण न केवल यात्रा को सुगम बनाएगा बल्कि क्षेत्र के आर्थिक विकास में भी तेजी लाएगा। यह सड़क परियोजना दिल्ली और जयपुर को सीधे जोड़ते हुए आसपास के कस्बों और गांवों के लिए नए अवसरों का द्वार खोलेगी।

इस सुपर एक्सप्रेसवे का निर्माण भारत के इंफ्रास्ट्रक्चर विकास में कदम माना जा रहा है। इसकी कुल लागत लगभग 6,530 करोड़ रुपये है जो इसे भारत की सबसे महंगी सड़क परियोजनाओं में से एक बनाती है। यह एक्सप्रेसवे दिल्ली और जयपुर के बीच के सफर को मात्र 40 किलोमीटर कम कर देगा जिससे लोगों को समय और ईंधन की बचत होगी।

इस परियोजना का उद्देश्य न केवल सड़क परिवहन में सुधार करना है बल्कि व्यापार, पर्यटन और उद्योगों को भी प्रोत्साहित करना है। इससे स्थानीय लोगों को रोजगार के नए अवसर मिलेंगे और क्षेत्र में आर्थिक गतिविधियां बढ़ेंगी। यह एक्सप्रेसवे विशेष रूप से हरियाणा के चार जिलों—गुरुग्राम, रेवाड़ी, झज्जर और महेंद्रगढ़—और राजस्थान के तीन जिलों—अलवर, जयपुर और सिलकर—से होकर गुजरेगा। इसके अलावा यह करीब 423 गांवों को भी कनेक्ट करेगा।

दिल्ली-जयपुर सुपर एक्सप्रेसवे की कुल लंबाई 195 किलोमीटर होगी और यह आठ लेन का होगा। इसे एनएच 352B नाम दिया गया है। यह दिल्ली-गुरुग्राम एक्सप्रेसवे के खेरकी धौला टोल प्लाजा के पास NH-48 के किलोमीटर 40.10 से शुरू होकर राजस्थान की राजधानी जयपुर के उत्तर में चंदवाजी के पास NH-48 के किलोमीटर 217.0 पर समाप्त होगा। इससे दिल्ली और जयपुर के बीच व्यापारिक और औद्योगिक गतिविधियों में भी बढ़ोतरी होने की संभावना है।

विशेषज्ञों का मानना है कि सुपर एक्सप्रेसवे का निर्माण कार्य 2027 तक पूरा हो जाएगा। इस मार्ग का निर्माण ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों के बीच की दूरी को कम करेगा और व्यापारिक गतिविधियों को भी बढ़ावा देगा। यह सड़क परियोजना न केवल यात्रा के अनुभव को बेहतर बनाएगी बल्कि स्थानीय लोगों के लिए रोजगार के अवसर भी प्रदान करेगी।

दिल्ली-जयपुर सुपर एक्सप्रेसवे से जुड़ने वाले क्षेत्रों में आर्थिक विकास की गति तेज होगी। यह एक्सप्रेसवे न केवल आर्थिक अवसरों का विस्तार करेगा बल्कि व्यापार और उद्योगों को भी प्रोत्साहित करेगा। इससे पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा क्योंकि यह मार्ग दिल्ली और जयपुर जैसे प्रमुख शहरों को जोड़ता है।

इस एक्सप्रेसवे के माध्यम से स्थानीय उद्योगों को अपने उत्पादों को बाज़ार में लाने का बेहतर अवसर मिलेगा। इससे ना केवल व्यापार को बढ़ावा मिलेगा बल्कि स्थानीय उत्पादों की पहचान भी होगी। इससे ग्रामीण इलाकों में रहने वाले लोगों को आर्थिक लाभ होगा और उनके जीवन स्तर में सुधार आएगा।

सुपर एक्सप्रेसवे के निर्माण से उन क्षेत्रों के विकास में भी तेजी आएगी जो अभी तक सड़क परिवहन की कमी के कारण पिछड़े हुए थे। स्थानीय लोगों को बेहतर परिवहन सुविधा मिलेगी जिससे उन्हें शिक्षा, स्वास्थ्य और रोजगार के लिए अधिक अवसर मिलेंगे। यह एक्सप्रेसवे विकासशील क्षेत्रों को विकसित करने में भी मदद करेगा और लोगों की जीवनशैली में सुधार लाएगा।

दिल्ली-जयपुर सुपर एक्सप्रेसवे का निर्माण कार्य तेजी से चल रहा है। यह परियोजना न केवल आर्थिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है बल्कि यह भारत के इंफ्रास्ट्रक्चर में एक नई दिशा भी दिखा रही है। इससे भारत की सड़क परिवहन क्षमता में वृद्धि होगी और देश के समग्र विकास में योगदान देगा।