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यूपी के सरकारी अस्पतालों में निजी डॉक्टर देंगे इलाज, मरीजों को मिलेगा बेहतर उपचार, इतना मिलेगा वेतन और अन्य भत्ते

लखनऊ के सरकारी अस्पतालों में अब निजी डॉक्टर इलाज करेंगे। यह व्यवस्था मरीजों के लिए काफी सुविधाजनक होगी क्योंकि अब ये डॉक्टर एक फोन कॉल पर उपलब्ध होंगे। उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक के अनुसार उच्च स्तरीय स्वास्थ्य सेवाएं मुहैया कराने की दिशा में यह एक अहम कदम है।

 
Government Hospitals of UP

लखनऊ: स्वास्थ्य विभाग की ओर से प्रत्येक जिले में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों को फर्स्ट रेफरल यूनिट के रूप में चिन्हित किया गया है। इसका मतलब है कि इन केंद्रों पर मरीजों को उच्च स्तरीय स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध कराई जाएंगी। इससे मरीजों को बेहतर और त्वरित उपचार प्राप्त हो सकेगा। इसके लिए स्वास्थ्य विभाग ने 1.41 करोड़ रुपये का बजट भी जारी किया है।

लखनऊ के सरकारी अस्पतालों में अब निजी डॉक्टर इलाज करेंगे। यह व्यवस्था मरीजों के लिए काफी सुविधाजनक होगी क्योंकि अब ये डॉक्टर एक फोन कॉल पर उपलब्ध होंगे। उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक के अनुसार उच्च स्तरीय स्वास्थ्य सेवाएं मुहैया कराने की दिशा में यह एक अहम कदम है।

अस्पतालों में स्त्री रोग विशेषज्ञ और एनेस्थेटिस्ट की सुविधा

सरकारी अस्पतालों में अक्सर स्त्री रोग विशेषज्ञ और एनेस्थेटिस्ट की कमी देखने को मिलती है। कई बार सिजेरियन डिलीवरी या अन्य आपातकालीन स्थितियों में विशेषज्ञ डॉक्टरों की आवश्यकता होती है लेकिन उनके अनुपस्थित रहने के कारण मरीजों को परेशानी का सामना करना पड़ता है। इस समस्या के समाधान के लिए अब संबंधित क्षेत्र के निजी डॉक्टरों को बुलाने का प्रावधान किया गया है।

डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने कहा है कि यह कदम मरीजों के लिए राहतकारी साबित होगा। अब मरीजों को ऑन कॉल स्त्री रोग विशेषज्ञ और एनेस्थेटिस्ट की सुविधा मिलेगी। इसके लिए अनुबंध भी हो चुका है और डॉक्टरों को उनकी ड्यूटी के हिसाब से वेतन दिया जाएगा।

डॉक्टरों का वेतन और अन्य भत्ते

निजी प्रैक्टिस करने वाले डॉक्टरों को सरकारी अस्पतालों में रात 8 बजे से सुबह 8 बजे तक ऑन कॉल ड्यूटी के लिए 5000 रुपये का भुगतान किया जाएगा। इसमें 4000 रुपये मानदेय और 1000 रुपये यात्रा भत्ता शामिल है। इसके अलावा फॉलोअप करने वाले मरीज को 1500 रुपये का भुगतान किया जाएगा।

पहले गाइनेकोलॉजिस्ट और एनेस्थेसिस्ट को प्रति कॉल दो हजार रुपये और एक हजार यात्रा भत्ता मिलता था। अब सुबह आठ बजे से शाम आठ बजे तक 2000 रुपये का मानदेय मिलेगा और रात आठ बजे से सुबह आठ बजे तक बुलाए जाने पर डॉक्टर को 4000 रुपये और 1000 रुपये का यात्रा भत्ता मिलेगा।

जिलों के लिए बजट आवंटन

स्वास्थ्य विभाग ने विभिन्न जिलों के लिए बजट आवंटित किया है ताकि यह व्यवस्था सुचारू रूप से चल सके। उप मुख्यमंत्री ने बताया कि गोंडा के लिए 2.38 लाख, रायबरेली के लिए 2.02 लाख, श्रावस्ती के लिए 77 हजार, हरदोई के लिए 2.86 लाख, अंबेडकरनगर के लिए 1.67 लाख, अमेठी के लिए 1.29 लाख, अयोध्या के लिए 1.73 लाख, बहराइच के लिए 2.42 लाख, बलरामपुर के लिए 1.49 लाख, बाराबंकी के लिए 2.27 लाख रुपये, लखीमपुर खीरी के लिए 2.80 लाख, लखनऊ के लिए 3.42 लाख, सीतापुर के लिए 3.12 लाख, सुल्तानपुर के लिए 1.68 लाख रुपये समेत प्रदेश के अन्य जिलों के लिए भी राशि आवंटित की जा रही है।