राजस्थान सरकार ने किया बड़ा प्रशासनिक फेरबदल, टीना डाबी समेत इन 108 आईएएस अफसरों के तबादले, देखें लिस्ट

Delhi highlights (ब्यूरो)। राजस्थान में सत्ता परिवर्तन के बाद भजनलाल सरकार ने एक बड़ा प्रशासनिक फेरबदल (Rajasthan IAS officers transferred) करते हुए 108 आईएएस अफसरों के तबादले किए हैं। साथ ही 20 आईएएस अफसरों को अतिरिक्त चार्ज भी दिया गया है। इसमें कई जिलों के कलेक्टर बदले गए हैं और नए पदाधिकारियों की नियुक्ति की गई है। इस कदम को सरकार की प्रशासनिक नीति में बड़ा बदलाव माना जा रहा है।
राजस्थान में 108 आईएएस अफसरों के तबादले
राजस्थान में देर रात हुए इस बदलाव में 108 आईएएस अधिकारियों के तबादले किए गए जबकि 20 अधिकारियों को अतिरिक्त चार्ज सौंपा गया है। इस फेरबदल में टीना डाबी जैसे युवा आईएएस अफसर को बाड़मेर का कलेक्टर बनाया गया है जो इस बदलाव का हिस्सा हैं।
भजनलाल सरकार के इस पहले बड़े फेरबदल से यह संकेत मिलता है कि राज्य में प्रशासनिक सुधारों की दिशा में यह एक बड़ा कदम है। सत्ता परिवर्तन के बाद ऐसे कदम उठाना सामान्य बात है लेकिन इतनी बड़ी संख्या में तबादले करना एक असाधारण घटना है।
जिला कलेक्टरों का तबादला
तबादलों की सूची में सबसे जिलों के कलेक्टरों का बदलाव देखा गया। जयपुर के जिला कलेक्टर के रूप में जितेंद्र कुमार सोनी की नियुक्ति की गई है जबकि हरीमोहन मीणा को डीग का कलेक्टर बनाया गया है। अलवर के कलेक्टर आशीष गुप्ता का तबादला किया गया और उनकी जगह अर्तिका शुक्ला को अलवर का कलेक्टर बनाया गया है।
इसके साथ ही आईएएस डॉ. प्रदीप के. गवांडे को जालौर का कलेक्टर बनाया गया है जो टीना डाबी के पति हैं। प्रदीप गवांडे को पहली बार प्राइम पोस्टिंग दी गई है। इससे पहले वे आयुक्त उपनिवेशन विभाग बीकानेर के पद पर थे। यह भी ध्यान देने वाली बात है कि रामावतार मीणा को झुंझुनूं का कलेक्टर बनाया गया है जबकि शुभम चौधरी को राजसमंद किशोर कुमार को खैरथल-तिजारा और लोकबंधु को अजमेर का कलेक्टर नियुक्त किया गया है।
राज्य सरकार के अन्य तबादले
तबादलों की इस सूची में कई वरिष्ठ अधिकारियों का भी उल्लेख किया गया है। शुभ्रा सिंह को राजस्थान राज्य पथ परिवहन निगम जयपुर का अध्यक्ष बनाया गया है। श्रेया गुहा को अतिरिक्त मुख्य सचिव ग्रामीण विकास विभाग जयपुर की जिम्मेदारी सौंपी गई है।
भास्कर ए. सावंत को प्रमुख शासन सचिव जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी एवं भूजल विस्तार विभाग जयपुर में तैनात किया गया है जबकि अश्विनी भगत को अल्पसंख्यक मामलात एवं वक्फ विभाग का प्रमुख शासन सचिव नियुक्त किया गया है। यह बदलाव राज्य की स्वास्थ्य विकास और अल्पसंख्यक योजनाओं को ध्यान में रखते हुए किया गया है।
इसके अतिरिक्त राजेश कुमार यादव को स्वास्थ्य विभाग का प्रमुख शासन सचिव हेमंत कुमार गेरा को राजस्व मंडल अजमेर का अध्यक्ष और गायत्री राठौड़ को चिकित्सा एवं स्वास्थ्य परिवार कल्याण विभाग का प्रमुख शासन सचिव बनाया गया है।
प्रशासनिक फेरबदल के प्रमुख कारण
सत्ता परिवर्तन के बाद किसी भी राज्य में प्रशासनिक फेरबदल एक आम प्रक्रिया होती है। नए मुख्यमंत्री अपने प्रशासनिक दृष्टिकोण और नीतियों को लागू करने के लिए बदलाव करते हैं जिससे राज्य में बेहतर प्रशासन की दिशा में कार्य हो सके।
भजनलाल सरकार का यह कदम भी इसी रणनीति का हिस्सा माना जा सकता है। इतने बड़े पैमाने पर तबादले करना सरकार की मंशा को दर्शाता है कि वे राज्य में प्रशासनिक सुधार और बदलाव लाने की इच्छुक हैं। इससे पहले गहलोत सरकार में तैनात अधिकारियों को हटाया गया है जो राज्य के प्रशासनिक ढांचे में बड़े बदलावों का संकेत है।
टीना डाबी और प्रदीप गवांडे की पोस्टिंग
इस फेरबदल में सबसे चर्चित नाम टीना डाबी और उनके पति प्रदीप के. गवांडे का है। टीना डाबी को बाड़मेर का कलेक्टर बनाया गया है जबकि उनके पति प्रदीप गवांडे को जालौर का कलेक्टर बनाया गया है। प्रदीप गवांडे को पहली बार प्राइम पोस्टिंग दी गई है जो कि उनके करियर के लिए एक मील का पत्थर है।
टीना डाबी की नियुक्ति उनके प्रशासनिक कार्यों के प्रति सरकार के विश्वास को दर्शाती है। वहीं प्रदीप गवांडे को जालौर में नियुक्त करने का निर्णय उनकी काबिलियत को मान्यता देने जैसा है।